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नासा ने बनायी सूर्य...

Posted by Fiction Facts

नासा अगले साल सूर्य पर अपना पहला रोबोटिक अंतरिक्ष यान भेजने की योजना बना रहा है सूर्य के वातावरण की जांच करने के लिए अंतरिक्ष यान को इसमें 6000000 किलोमीटर तक बेहेजे जाने की योजना है यानी इस मिशन में नासा का यान सूर्य को छू कर पृथ्वी पर आएगा



नासा एक अंतरिक्ष यान को सूर्य के इतने करीब भेजना चाहता है जितने करीब पहले कभी कोई नहीं गया वहां पर अंतरिक्ष यान को न केवल बेहद ऊंचे तापमान बल्कि हाई रेडिओएक्टिविटी का सामना करना पड़ेगा 



इंसान, चांद मंगल और यहां तक कि सुदूर अंतरिक्ष में भी अंतरिक्ष यान भेज चुका है अब नासा की योजना सूर्य पर सोलर प्रो+ यान मिशन भेजने की है सूर्य पृथ्वी से लगभग 15 करोड़ किलोमीटर की दूरी पर है सूरज की यह यात्रा मानव सभ्यता की पहली यात्रा होगी जो मानव इतिहास की सबसे बड़ी उपलब्धियों में से एक होगी

नासा ने इससे सम्बंधित घोषणा करते हुए कहा है कि 2018 की गर्मियों में अंतरिक्ष यान को लांच करने की तैयारी की जा रही है Godite Space Filite सेंटर में नासा के वैज्ञानिक एरिक क्रिश्चन ने कहा की ये सूर्य के लिए भेजे जाने वाला पहला मिशन होगा उन्होंने कहा कि हम सूर्य की सतह पर नहीं पहुंच सकते लेकिन ये मिशन उसके उतना करीब तो पहुंच ही जाएगा कि तीन सवालों के जवाब दे सके

ये मिशन सम्भवतः इस बात का जवाब दे पाएगा कि सूर्य  की सतह उसके वातावरण जितनी गर्म क्यों नहीं है नासा के मुताबिक सूर्य की सतह का तापमान 5500 डिग्री सेल्सियस हे जबकि उसके वातावरण का  तापमान 2000000 डिग्री सेल्सियस है लाइव साइंस की रिपोर्ट के मुताबिक वैज्ञानिक ये भी जानना चाहते हैं कि सौर हवाओ को उनकी गति कैसे मिलती है इस मिशन से यह पता चल सकता है कि सूर्य कई बार इतनी अधिक ऊर्जा के कड क्यों उत्सर्जित करता है जो अंतरिक्ष यात्रियों और अंतरिक्ष यानों के लिए खतरा पैदा करते हैं

सोलर प्रो प्लस सूरज की सतह में 4000000 मील अंदर तक यानी सौर वातावरण तक जाएगा ऐसी स्थिति में यान को जितनी ज्यादा गर्मी और वितरण का सामना करना होगा उतना आज तक किसी भी मानव निर्मित चीज ने नहीं किया होगा



सोलर प्रो सूरज की सतह के 6200000 किलोमीटर के दायरे में चक्कर लगायेगा और लगभग 1377 डिग्री तापमान का सामना करेगा नासा के मुताबिक अब तक कोई भी यान सूरज के जितना नजदीक पहुंचा है उस से 7 गुना अधिक नजदीक ये यान जाएगा 

पिछली बार 1976 में हेलियस -2 नाम का अंतरिक्ष यान सूरज के पास पहुंचा था तब उस यान की सूरज से दूरी 430000000 किलोमीटर थी नासा ने एक बयान   में कहा कि स्पेसक्राफ्ट सूरज के बाहरी वातावरण का अध्ययन करेगा सूर्य के सबसे बहार का हिस्सा कोरोना,  किस तरह गर्म होता है और उसके पीछे की क्या प्रक्रिया है इस बारे में जानकारी जुटाने की कोशिश की जाएगी इससे मिली जानकारियों से दसको पहले सवाल का हल मिलेगा की तारे कैसे काम करते हैं अंतरिक्ष यान सोलर प्रो को सूरज के ताप से बचाने के लिए इस्पेशल कार्बन हीट कम्पोजिट हीट सील्ड लगाई गई है इस हीट शील्ड की मोटाई 11.43 है आज के लिए बस इतना ही पसंद आया हो तो शेयर करें नमस्कार दोस्तों

Pasted: Dec 13, 2017, 11:18:35 am
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